रीवा. साइबर फ्रॉड का शिकार हुए एक 65 वर्षीय वृद्ध ने लगातार मानसिक दबाव और ब्लैकमेलिंग से तंग आकर आत्महत्या कर ली। घटना रीवा शहर के उपरहटी क्षेत्र की है, जहां सरोज दुबे नामक व्यक्ति ने अपनी लाइसेंसी बंदूक से खुद को गोली मार ली।
पुलिस जांच में खुलासा हुआ कि सरोज दुबे एक फर्जी कंपनी ‘इंडियन ओल्ड क्वाइन सेल’ के झांसे में आ गए थे। जालसाजों ने उन्हें पुराने सिक्कों के बदले करोड़ों रुपये मिलने का लालच दिया और फिर उनसे 60 से 70 हजार रुपये तक की रकम अलग-अलग खातों में जमा करवा ली।
ब्लैकमेलिंग से टूट गया भरोसा : पैसे देने के बाद भी जालसाजों की ब्लैकमेलिंग बंद नहीं हुई। बदमाशों ने नोटों की गड्डियों और हथियारबंद सुरक्षा गार्ड की तस्वीरें भेजकर विश्वास जमाया और बार-बार और पैसे की मांग करते रहे। वृद्ध ने कई जानकारों और दुकानदारों से कर्ज लेकर यह रकम जुटाई थी। घटना वाले दिन उन्होंने अपने दामाद से भी पैसे मांगे थे, लेकिन जब रिपोर्ट लिखवाने की बात आई तो उन्होंने आत्मघाती कदम उठा लिया।
अब साइबर सेल कर रही जांच : वृद्ध के मोबाइल से भेजे गए ट्रांजेक्शन मैसेज, कॉल रिकॉर्ड और दस्तावेज बरामद किए गए हैं। जिन मोबाइल नंबरों और बैंक खातों में पैसे भेजे गए, उनकी जानकारी साइबर सेल जुटा रही है। एसपी विवेक सिंह ने बताया कि जांच के आदेश दिए गए हैं और जल्द ही आरोपियों की गिरफ्तारी की जाएगी।
पहले भी हो चुकी है ऐसी वारदात
यह पहला मामला नहीं है। इसी तरह का एक मामला मऊगंज में भी सामने आया था, जहां एक शिक्षिका को पुराने सिक्कों के नाम पर ठगकर आत्महत्या के लिए मजबूर किया गया था। उस केस में राजस्थान की गैंग के कुछ आरोपी अलवर से पकड़े गए थे। संदेह है कि वही गैंग इस मामले में भी सक्रिय थी।
– सावधान रहें:
पुराने सिक्कों या करेंसी बेचने के नाम पर किसी भी व्यक्ति या वेबसाइट को पैसे न भेजें। ऐसी ठगी की जानकारी तुरंत नजदीकी पुलिस या साइबर सेल को दें।
– साइबर क्राइम शिकायत पोर्टल: www.cybercrime.gov.in
– टोल-फ्री हेल्पलाइन: 1930